
*नगर निगम की मिली भगत से प्लास्टिक कैन और फूल फरोशी का हो रहा कारोबार
*हरकी पौड़ी पर एनजीटी के आदेशों की उड़ाई जा रही धज्जियां, प्रशासन मौन
मुकेश वर्मा
हरिद्वार। हरकी पौडी के प्रतिबंधित तीर्थस्थल पर नगर निगम के कारण न केवल एनजीटी (ग्रीन नेशनल ट्रिब्यूनल) के अधिकारों का उल्लंघन हो रहा है, बल्कि लाखों तीर्थयात्रियों की धार्मिक भावनाओं के साथ भी खिलवाड़ हो रहा है। एनजीटी ने गंगा की स्वच्छता बनाए रखने के लिए साफ निर्देश दिए थे कि गंगा में फूल और प्लास्टिक पॉलिथीन का प्रतिबंधित-निषिद्ध किया जाए, ताकि पवित्र जल को प्रदूषित न किया जा सके।
इसके बावजूद हरकी पौडी पर यह आदेश पूरी तरह से नजरअंदाज किया जा रहा है और नगर निगम के अधिकारियों के संरक्षण में यह चल रहा है। गंगा के जल की पवित्रता बनाए रखने के लिए एनजीटी द्वारा जारी किए गए अदेशो का उल्लंघन पिछले कुछ समय हो रहा है।
सूत्रों के अनुसार नगर निगम अधिकारियों की मिली भगत के चलते हरकी पौडी पर प्रतिबंधित प्लास्टिक पॉलिथीन बिक रही है। हरकी पौडी पर फूलों फ़रोशी के ठेको से नगर निगम को भारी भरकम इनकम होती रही है। बताया जा रहा हैं कि यह इनकम करीब 3 से 4 करोड़ रुपये थी, जो हर साल नगर निगम के राजस्व में बड़ा योगदान देती थी। लेकिन इस बार एनजीटी के ऑर्डर के कारण फूल पड़ोसी के ठेकों का ठेका नहीं दिया गया था। फिर भी नगर निगम ने बिना किसी कागजी कार्रवाई के और प्रतिदिन के हिसाब से फूल फ़रोशी के ठेके दिए हैं, जिससे नगर निगम को भारी राजस्व हानि उठानी पड़ रही है।
यह केवल नगर निगम के के नियमो का ही उलंघन नही है, बल्कि हर हरकी पौडी की मर्यादा और पवित्रता को भी खतरे में डाला जा रहा है। नगर निगम की ओर से इस मामले को लेकर कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जा रही है। नगर निगम के मेयर और अधिकारियों की ओर से इस विषय पर कोई स्पष्ट उत्तर नहीं दिया गया है, जबकि इस वजह से नगर निगम की नियमों की धज्जियाँ उड़ रही हैं।
हरकी पौडी पर अवैध तरीके से किये जा रहे करोबार में भी बढ़ोतरी हो रही है। यहां सैकडो जगह फूल फ़रोशी के ठेके, प्लास्टिक, पॉलिथीन, की बिक्री बिना किसी रोक-टोक हो रहे है। जबकि यह एनजीटी के लिए अस्वीकृत और नगर निगम के नियमो के विपरीत है, इसमें कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जा रही है। हरकी पौड़ी से राजस्व पर फूलों की बिक्री से नगर निगम को करोड़ों रुपये का राजस्व प्राप्त होता है, लेकिन इससे नुकसान हो रहा है और पवित्र गंगा की स्वच्छता पर गंभीर प्रभाव पड़ रहा है।