*स्थान्तरण होने वाले चिकित्सकों के स्थान पर नहीं मिला कोई चिकित्सक
*जिला अस्पताल हरिद्वार कई वर्षो से चिकित्सकों की कमी को झेल रहा
*फिजिशियन, जनरल सर्जन, हदय रोग विशेषज्ञ समेत कई विशेषज्ञ की हैं कमी
मुकेश वर्मा
हरिद्वार। जिला अस्पताल हरिद्वार पिछले कई वर्षो से चिकित्सकों की कमी को झेल रहा है। जिसके सम्बंध में समय समय पर तैनात रहे प्रमुख अधीक्षक द्वारा कई बार शासन को पत्राचार कर स्थिति से अवगत कराते हुए चिकित्सकों की कमी को दूर करते हुए तैनाती के लिए लिखा जा चुका है। लेकिन उसके बावजूद शासन की ओर से कोई गम्भीरता नहीं दिखाई जा रही है। भले ही सरकार और शासन द्वारा जिला अस्पताल हरिद्वार को सभी सुविधाओं से युक्त हॉस्पिटल बनाये जाने के दावे किये जाते रहे है, लेकिन सरकार व शासन के दावे धरातल पर खोखले साबित हो रहे है।
जिला अस्पताल आज भी फिजिशियन, जनरल सर्जन, हदय रोग विशेषज्ञ आदि कई विशेषज्ञ चिकित्सकों की कमी को कई वर्षो से झेल रहा है। ऐसा नहीं इस बात की जानकारी सरकार और शासन को नहीं है। यह कहना गलत नहीं होगा कि शासन की ओर से जनपद हरिद्वार की चिकित्सा क्षेत्र में पूरी तरह से उपेक्षा की जा रही है। शासन की ओर से जिला अस्पताल में चिकित्सकों की कमी को दूर तो नहीं कर पा रहा हैं, बल्कि जो चिकित्सक तैनात हैं, उनका स्थान्तरण अन्य जनपद में किया जा रहा है। जिला अस्पताल से स्थान्तरित होने वाले चिकित्सकों की स्थान पर किसी चिकित्सक की तैनाती भी नहीं की जा रही है। जिला अस्पताल को धीरे-धीरे चिकित्सक रहित करने का प्रयास किया जा रहा है।
सूत्रों की माने तो शासन की ओर से जिला अस्पताल हरिद्वार में तैनात तीन चिकित्सकों का 24 जुलाई 24 को स्थान्तरित किया जा चुका है। जिसके सम्बंध में डीजे हैल्थ की ओर से जिला अस्पताल हरिद्वार को चिकित्सकों के स्थान्तरण के सम्बंध में 23 अगस्त 24 को आदेश भी आ चुके है। लेकिन स्थान्तरण आदेश आये हुए 05 माह का समय बीत चुका है। लेकिन शासन की ओर से स्थान्तरित चिकित्सकों के स्थान पर अभी तक कोई नियुक्ति नहीं की है।
सूत्रों की माने जिला अस्पताल से स्थान्तरित होने वाले चिकित्सकों को अभी तक उनके स्थान्तरण स्थल के लिए रिलीव नहीं किया गया है। जिसकी वजह जिला अस्पताल में पहले से ही चिकित्सकों की कमी का होना बताया जा रहा है। जिला अस्पताल की ओर से स्थान्तरित होने वाले चिकित्सकों के रिलिवर के पहुंचने का इंतजार कर रहा हैं। सूत्रों के अनुसार जिला और महिला अस्पताल में कुल 44 चिकित्सकों की तैनाती का प्रवाधान है। लेकिन अगर आज धरातल पर बात करें तो मौजूदा वक्त में दोनों अस्पतालों में 25 चिकित्सक ही तैनात है। जिनमें जिला अस्पताल में 20 और महिला अस्पताल में 05 चिकित्सक है। जिनमें स्थान्तरित होने वाले तीन चिकित्सक भी शामिल है।
सूत्रों के माने तो स्थान्तरित होने वाले तीनों चिकित्सकों को तत्काल रिलीव करने के सम्बंध में जिला अस्पताल को तीन पत्र मिल चुके है। लेकिन जिला अस्पताल की चिकित्सकों की कमी के चलते उनको रिलीव नहीं किया जा रहा है। जिला अस्पताल हरिद्वार की ओर से स्थान्तरित होने वाले चिकित्सकों को रिलीव ना करने की वजह के सम्बंध में शासन को लिखित में अवगत कराया जा चुका है। उसके बावजूद स्थान्तरित होने वाले तीनों चिकित्सकों के स्थान पर अभी तक शासन की ओर से कोई तैनाती नहीं की जा सकी है।
सूत्रों के अनुसार शासन की ओर से लगातार स्थान्तरित होने वाले तीनों चिकित्सकों को तत्काल रिलीव करने का दबाब जिला अस्पताल हरिद्वार पर बनाया जा रहा है। इस बात से अंदाजा लगाया जा सकता हैं कि सरकार और शासन दोनों ही जनपद हरिद्वार के प्रति चिकित्सा क्षेत्र में जनपद वासियों को सुविधा देने के लिए कितनी गम्भीर है। जिला अस्पताल हरिद्वार में चिकित्सकों की कमी का खमियाजा स्थानीय जनता को भुगतना पड़ रहा है।